सात साल बाद बदला जा सका यूएसओआर रेट

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रायपुर.

प्रदेश के लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग ( पीएचई ) में एक दो नहीं बल्कि पूरे सात साल के बाद एसओआर में बदलाव हुआ है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को विभागीय मंत्री गुरु रुद्रकुमार ने नई एसओआर पर आधारित पुस्तिका भेंट की है.

बताया जाता है कि पीएचई में वर्ष 2013 का यूएसओआर प्रचलन में था. विभाग के प्रमुख अभियंता के अनुसार राज्य में पेयजल के कार्यों को गति प्रदान करने हेतु वर्ष 2013 के यूएसओआर के आधार पर नया यूएसओआर तैयार किया गया है.

पीएचई सेक्रेटरी आईएएस अविनाश चंपावत के अनुसार तत्काल प्रभावशील नवीन यूएसओआर में पहली बार निर्माण कार्यों के साथ-साथ संचालन-संधारण से संबंधित समस्त कार्यों की लागत को भी इसमें शामिल किया गया है. जिसका उपयोग शासन के अन्य विभागों जैसे- नगरीय प्रशासन, पंचायत विभाग, नगर निगम, नगर पालिका और उद्योग विभाग में भी पेयजल संबंधी निर्माण कार्यों में ला सकेंगे.

विभाग का दावा है कि नया यूएसओआर रेट सभी बारीकियों को ध्यान में रखकर काफी मशक्कत से तैयार किया गया है. इस नए यूएसओआर रेट से विभागीय निर्माण कार्यों एवं संधारण के कार्यों को कराने में आसानी होगी.

मंत्री उवाच : आसानी होगी

मंत्री गुरू रूद्रकुमार ने कहा कि नवीन दर लागू होने से वर्ष 2024 तक राज्य के सभी गांवों के प्रत्येक घर में नल के माध्यम से जल की आपूर्ति के अंतर्गत कराये जाने वाले कार्य सहजता से समय-सीमा में पूर्ण कराए जा सकेंगे.

नया यूएसओआर रेट लागू हो जाने से पेयजल संबंधी निर्माण एवं मरम्मत के कार्यों को कराने में आसानी होगी. नया यूएसओआर रेट के कारण अब राज्य शासन के राज्यांश के अतिरिक्त अन्य वित्तीय भार की बचत होगी.

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