19 साल बाद मुक्त होंगे राजपथवासी

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रांची.

465 बैठक… 316 विधेयक पारित हुए… 19 साल चला सफर… अब झारखंड की राजधानी मेें स्थित बिरसा चौक, एचइसी, राजपथ के आसपास रहने वाले वह लोग मुक्त होंगे जो कि लेनिन हॉल में लगने वाली विधानसभा की कार्यवाही के दौरान एक तरह से बंधक बना लिए जाते थे.

दरअसल मामला नए विधानसभा भवन से जुड़ा हुआ है. तकरीबन 19 साल पहले उदित हुए झारखंड राज्य की पहली विधानसभा की कार्यवाही एचइसी के रसियन हॉस्टल में हुई थी.

इसी रसियन हॉस्टल को राजधानी के लोग प्राय: लेनिन हॉल के नाम से पुकारते रहे हैं. इसी लेनिन हॉल में झारखंड विधानसभा की पहली कार्यवाही 21 नवंबर 2000 को हुई थी.

तब विधानसभा अध्यक्ष के पद पर इंदर सिंह नामधारी बैठा करते थे. अब राज्य बदल गया है… बढ़ गया है. इस साल 26 जुलाई 2019 को मानसून सत्र की जो बैठक हुई वह रसियन हॉस्टल में विधानसभा की अंतिम बैठक मानी जा सकती है.

वर्षों तक कई उतार चढ़ाव को झेल चुके रसियन हॉस्टल या कहिए लेनिन हॉल में लगने वाली विधानसभा के नए भवन का निर्माण तकरीबन पूरा हो गया है. नए भवन के बनने से सबसे ज्यादा प्रसन्न उस बिरसा चौक के आसपास रहने वाले लोग हैं जो कि सत्र के दौरान गेट बंद कर दिए जाने से एक तरह से परेशान रहा करते थे.

(“नेशन अलर्ट” आपको झारखंड विधानसभा के नए भवन के संदर्भ में भी जानकारी आगे उपलब्ध कराएगा )

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